सर्दी को भगा दे, दो पेग लगा ले,
माना, चाय से दिन शुरू किया है,
पर ठंड में, चुस्की का कुछ और मजा है,
महफिलें भी, कहा लगी है,
बस, यारो से चैट चल रही है,
थोड़ा मुस्कुरा ले,
सर्दी को भगा दे, दो पेग लगा ले,
माना, ऑफिस तो जाना है,
पर बाहर, ठंड से सिकुड़ जाना है,
मन मार के काम है करना
वक़्त गुजरता भी नहीं है,
टेंशन मत ले यार,
सर्दी को भगा दे, दो पेग लगा ले,
माना, पीते तुम नहीं हो,
खुल के जीते तुम नहीं हो,
घर में, अकेले वक़्त बिताना,
कैसे कहे, क्या है अफसाना,
शाम, पार्टी का प्रोग्राम बना है,
सर्दी को भगा दे, दो पेग लगा ले,
देव